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शादी के नाम पर ठगे 17.5 लाख, सुहागरात के दिन दूल्हे को हुआ शक तो सामने आया सच

दुर्ग।छत्तीसगढ़ के दुर्ग में बिजनेसमैन के बेटे से शादी के नाम पर धोखाधड़ी हुई है. दुल्हन पक्ष ने न सिर्फ दूल्हा पक्ष को झूठ बोला, बल्कि 17.5 लाख रुपये भी ऐंठ लिए. पुलिस ने मामले में 7 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया है.छत्तीसगढ़ के दुर्ग में एक बिजनेसमैन के बेटे की शादी कराने का झांसा देकर 17.5 लाख रुपये की ठगी की गई है. बिजनेसमैन को अपने बेटे के लिए जैन लड़की ही चाहिए थी. ऊपर से बिजनेसमैन के बेटे की उम्र भी कुछ ज्यादा हो गई थी. बस शादी करवाने वाली महिला एजेंट ने इसी बात का फायदा उठाया. उसने एक लड़की से युवक की शादी करवा दी. बदले में लाखों रुपये भी ऐंठ लिए. लेकिन सुहागरात पर दूल्हे को जब दुल्हन की सच्चाई पता चली तो उसके होश उड़ गए. उसने दुल्हन समेत 7 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज करवाया है.मामला शनिचरी बाजार का है. यहां रहने वाले एक बिजनेसनैन अपने 43 वर्षीय व्यवसायी बेटे के लिए रिश्ता ढूंढ रहे थे. वो जैन लड़की ढूंढ रहे थे. क्योंकि परिवार जैन धर्म से ताल्लुक रखता है. युवक की पांच बहने हैं. पहले उनकी शादियां करवाई गईं. इस कारण युवक की खुद की शादी में देर हो गई. शादी के हिसाब से उम्र भी ज्यादा हो गई थी. लड़की मिल पाना मुश्किल हो रहा था. इसलिए परिवार ने सूरत में अपने एक परिचित महावीर जैन से इस बारे में चर्चा की.

महावीर ने उन्हें इंदौर की शादी एजेंट सरला के बारे में बताया. इस पर सरला ने इंदौर की युवती पूर्वा भारती जैन का बायोडाटा भेजा. युवक के पिता, बहन और छोटा भाई बात आगे बढ़ाने के लिए लड़की को देखने इंदौर गए. तब घर में एक युवक था, जिसे होने वाली दुल्हन का छोटा भाई बताया गया. लड़की वालों ने कहा कि वो भी जैन ही हैं. लड़की का नाम पूर्वा जैन बताया गया.

बाद में रिश्ता तय करने की एवज में शादी एजेंट सरला ने दूल्हा पक्ष से 1.5 लाख रुपए मांगे. तब दूल्हे के परिवार ने तत्काल 11 हजार रुपए मुंह दिखाई भी दे दी. 9 अप्रैल को लड़की के पिता के रूप में शांतिलाल गांधी और बड़े भाई महावीर का परिचय कराया गया. विवाह का पूरा खर्च लगभग 16 लाख रुपए लड़के वालों से ही उठाने की शर्त पर शादी तय हुई.

ऐसे ऐंठते रहे लाखों रुपये

रिश्ता पक्का हुआ तो एजेंट सरला ने वर पक्ष से 16 लाख रुपए की मांग शुरू कर दी. इस पर उन्होंने सरला को 5.5 लाख रुपए दिए. बाकी रकम शादी के समय देने की बात कही. पूर्वा और उसके परिवार के अन्य सदस्य 23 अप्रैल को दुर्ग में दूल्हे के घर पहुंच गए. सगाई हो गई और कथित वधु पक्ष ने 3 लाख रुपए और ले लिए. 3 मई को शादी इंदौर के एक होटल में हुई. इसका खर्च भी वर पक्ष से लिया गया. 8.9 लाख रुपए की शेष रकम भी मौके पर ही ले ली गई. इस तरह कुल 17.5 लाख रुपए वसूल लिए गए.

दुल्हन पर हुआ शक

लेकिन जब सुहागरात हुई तो दूल्हे को न जाने क्यों पर दुल्हन पर शक हुआ. दूल्हे ने कहा- मुझे अपना आधार कार्ड दिखाना. लेकिन दुल्हन टाल मटोल करने लगी. दूल्हे के मन में जो शक पैदा हुआ था, वो और गहरा हो गया. वो उसके बाद दुल्हन को बार-बार आधार कार्ड दिखाने के लिए कहता. लेकिन दुल्हन टाल मटोल कर देती. इसके बाद एक दिन दूल्हे को कहीं से उसका आधार कार्ड मिल ही गया. उसमें जो दुल्हन का नाम लिखा था उसे देख उसके होश उड़ गए. दुल्हन जैन समाज की नहीं थी. बल्कि, दुल्हन का सरनेम कुछ और ही था. यह देखते ही दूल्हे ने अपना माथा पकड़ लिया. इसके बाद उन्होंने थाने में जाकर धोखाधड़ी की तहरीर पर मामला दर्ज करवाया.

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