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पंजाबी साहित्य अकादमी, महाराष्ट्र के नव नियुक्त अध्यक्ष बल मलकित सिंह को दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी और परिवहन क्षेत्र ने किया सम्मानित 

 

पंजाबी साहित्य अकादमी महाराष्ट्र के नव नियुक्त अध्यक्ष बल मलकित सिंह सम्मानित

नई दिल्ली, 29 अक्टूबर।  गहरे सम्मान और गर्व से भरपूर एक आयोजन में सरदार बल मलकित सिंह को दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (DSGMC) और परिवहन क्षेत्र के प्रतिष्ठित नेताओं द्वारा पंजाबी साहित्य अकादमी, महाराष्ट्र के अध्यक्ष के रूप में उनकी हाल ही में हुई नियुक्ति के उपलक्ष्य में सम्मानित किया गया। महाराष्ट्र सरकार द्वारा  गत 11 अक्टूबर  को अधिसूचना जीआर के अनुसार की गई ।इस नियुक्ति के माध्यम से  सिंह के पंजाबी समुदाय और साहित्य, संस्कृति एवं विरासत के प्रचार-प्रसार में दिए गए योगदान को मान्यता दी गई है। इस कार्यक्रम में DSGMC के अध्यक्ष हरमीत सिंह कलका जी और सचिव जदीप सिंह कल्होन  के साथ DSGMC के सभी पदाधिकारी, एमसी सदस्य, और परिवहन समुदाय के प्रतिष्ठित सदस्यों की उपस्थिति रही। सभी गणमान्य व्यक्तियों द्वारा श्री सिंह की उपलब्धियों की सराहना उनके पंजाबी संस्कृति संरक्षण में किए गए अडिग योगदान और साहित्य एवं कला के माध्यम से समुदाय को आगे बढ़ाने के उनके प्रयासों को दर्शाती है।

बल मलकित सिंह बोले, यह क्षण सभी के अटूट समर्थन और आशीर्वाद का प्रतीक

अपने संबोधन में बल मलकित सिंह ने इस सम्मान के लिए अपनी कृतज्ञता और विनम्रता व्यक्त करते हुए कहा, “यह गर्व का क्षण आप सभी के अटूट समर्थन और आशीर्वाद का प्रतीक है। हम मिलकर अपनी पंजाबी धरोहर को समृद्ध और आगे बढ़ाने के लिए काम कर रहे हैं, और DSGMC और परिवहन समुदाय से मिले निरंतर प्रोत्साहन के लिए मैं गहराई से आभारी हूं।”

पंजाबी साहित्य अकादमी, महाराष्ट्र के अध्यक्ष के रूप में श्री सिंह पंजाबी भाषा, साहित्य और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न पहलों का नेतृत्व करेंगे, जिससे महाराष्ट्र और उससे आगे तक इसका प्रभाव बढ़ेगा। उनके प्रयास अकादमी के मिशन के अनुरूप हैं, जो पंजाबी साहित्य को सभी के लिए सुलभ बनाना है, और वह इस साझा दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने के लिए सामुदायिक नेताओं के साथ सहयोग की प्रतीक्षा कर रहे हैं।

इस कार्यक्रम का समापन इस अवसर की यादगार पलों को साझा करने के साथ हुआ, जो पंजाबी संस्कृति को बढ़ावा देने में श्री सिंह की भूमिका के प्रति गर्व और सामूहिक समर्थन को दर्शाता है। यह नियुक्ति राज्य में सांस्कृतिक और साहित्यिक विरासत के प्रचार-प्रसार के एक नए अध्याय का प्रतीक है, और श्री सिंह पंजाबी समुदाय के एक प्रतिनिधि के रूप में अपनी भूमिका निभाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

पंजाबी साहित्य अकादमी, महाराष्ट्र के बारे में
पंजाबी साहित्य अकादमी, महाराष्ट्र, पंजाबी भाषा और साहित्य के संरक्षण, प्रचार और विकास के लिए समर्पित है। महाराष्ट्र सरकार के समर्थन से अकादमी विभिन्न आयोजनों का आयोजन, पुस्तकों का प्रकाशन और विभिन्न पहलें करती है ताकि राज्य में पंजाबी साहित्य और सांस्कृतिक मूल्यों की वृद्धि सुनिश्चित हो सके।

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