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राष्ट्रीय विधायक सम्मेलन (NLC Bharat) के संस्थापक डॉ. राहुल वी. कराड का बेंगलुरु में ११वें सीपीए इंडिया रीजन कॉन्फ्रेंस में सम्मान

बेंगलुरु/पुणे, 21 सितम्बर – ११वां कॉमनवेल्थ पार्लियामेंट्री एसोसिएशन (CPA) इंडिया रीजन कॉन्फ्रेंस, जिसे पहली बार कर्नाटक विधान सभा द्वारा भव्य विधान सौध में आयोजित किया गया, देश के शीर्ष संवैधानिक नेताओं की उपस्थिति में अत्यंत गरिमामय रूप से आरंभ हुआ। सीपीए राष्ट्रमंडल की संसदों का एक अंतरराष्ट्रीय संगठन है, जिसका उद्देश्य लोकतंत्र, सुशासन और विधायकों के मध्य सहयोग को प्रोत्साहित करना है। भारत की लोकसभा एवं राज्यसभा इसके सक्रिय सदस्य हैं। इस विशिष्ट अवसर पर, सम्मेलन के उद्घाटन समारोह में राष्ट्रीय विधायक सम्मेलन, भारत (NLC Bharat) के संस्थापक डॉ. राहुल वी. कराड को लोकसभा अध्यक्ष श्री ओम बिरला द्वारा सम्मानित किया गया। यह सम्मान उन्हें लोकतंत्र को सशक्त बनाने की दिशा में उनके दूरदर्शी दृष्टिकोण, अटूट समर्पण और प्रेरणादायक प्रयासों के लिए प्रदान किया गया। इस अवसर पर राज्यसभा के उपसभापति श्री हरिवंश, कर्नाटक विधान परिषद के सभापति श्री बसवराज होरट्टी, मुख्यमंत्री श्री सिद्धारमैया, उपमुख्यमंत्री श्री डी.के. शिवकुमार एवं विधानसभा अध्यक्ष श्री यू.टी. खादर सहित अन्य गणमान्य उपस्थित रहे। इस मंच पर यह घोषणा भी की गई कि डॉ. कराड के नेतृत्व में NLC Bharat एक ऐतिहासिक पहल के रूप में उभरा है, जो भारत के समस्त राज्यों के विधायकों को विकास एवं लोकतांत्रिक मूल्यों के व्यापक लक्ष्यों हेतु संवाद, विचार-विमर्श और सहयोग के लिए एकजुट करता है। इस पहल का प्रथम सम्मेलन जून २०२३ में मुंबई में आयोजित हुआ था, जिसमें १,८०० से अधिक विधायकों ने भाग लिया था। हाल ही में, डॉ. कराड ने अमेरिका के बोस्टन में एक अंतरराष्ट्रीय क्षमता संवर्द्धन कार्यक्रम का भी सफल आयोजन किया, जिसमें २१ राजनीतिक दलों और २४ राज्यों का प्रतिनिधित्व करने वाले १३० भारतीय विधायक सम्मिलित हुए, जिससे इस पहल को वैश्विक मान्यता प्राप्त हुई।

डॉ. राहुल कराड को यह सम्मान, भारत के विभिन्न राज्यों से पधारे विधानसभाओं और विधान परिषदों के अध्यक्षों, उपाध्यक्षों, सचिवों तथा लोकसभा सचिवालय के वरिष्ठ अधिकारियों की गरिमामयी उपस्थिति में प्रदान किया गया।

अपने संबोधन में, कर्नाटक विधान परिषद के सभापति श्री बसवराज होरट्टी ने डॉ. कराड के उल्लेखनीय योगदान की सराहना करते हुए कहा कि जहाँ विधानसभाएँ लोकतंत्र की संवैधानिक संरक्षक हैं, वहीं इस प्रकार की निजी पहलें संवाद को बढ़ावा देने, क्षमताओं के निर्माण और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को सुदृढ़ करने के माध्यम से लोकतंत्र को वास्तविक अर्थों में सशक्त बनाती हैं। उन्होंने यह भी रेखांकित किया कि जिस प्रकार सार्वजनिक–निजी भागीदारी अन्य क्षेत्रों में सफल रही है, उसी प्रकार लोकतांत्रिक सुदृढ़ता के क्षेत्र में भी ऐसे सहयोग अपार संभावनाओं से परिपूर्ण हैं। समारोह का समापन डॉ. कराड के योगदानों पर गर्मजोशी से की गई तालियों के साथ हुआ, जिसके पश्चात सीपीए कर्नाटक शाखा के सचिव द्वारा औपचारिक धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत किया गया तथा सभी प्रतिनिधियों के लिए भोज का आयोजन किया गया

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