एजुकेशनमध्य प्रदेश

अर्हता निर्माण के साथ-साथ क्षमता निर्माण पर भी फोकस करें: प्रो. सी.सी त्रिपाठी

शिक्षकों को स्टूडेंट्स के लिए संवेदनशील होना चाहिए। केवल शिक्षक ही विद्यार्थियों का मूल्यांकन नहीं बल्कि समाज भी शिक्षकों का मूल्यांकन करता है। स्कूल स्तर का स्टूडेंट अपने टीचर पर अपने माता पिता से ज्यादा ट्रस्ट करता है लेकिन ऐसा क्या हो जाता है की कॉलेज आते आते यह ट्रस्ट कुछ कम हो जाता है? टीचर को स्टूडेंट्स और पेरेंट्स की अपेक्षाओं पर खरा उतरना होगा। यह विचार व्यक्त किये एनआईटीटीटीआर भोपाल के डायरेक्टर प्रो. सी.सी. त्रिपाठी ने। वह मध्यप्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर्स के लिए आयोजित 12 दिवसीय विशेष ट्रेनिंग प्रोग्राम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कई रोचक उदाहरण देते हुए टीचर्स से अपील की वे स्टूडेंट्स की अहर्ता निर्माण के साथ साथ क्षमता निर्माण पर भी फोकस करें एवं स्टूडेंट को व्यवसाय युक्त शिक्षा के लिए प्रेरित करें। इससे रोजगार की जगह स्टूडेंट्स पूरे विश्वास के साथ व्यवसाय की और कदम बड़ा सकेंगे। उच्च शिक्षा के तेजी से बदलते परिदृश्य और NEP 2020 के अनुरूप परिणाम-आधारित शिक्षा (OBE) को अपनाने के लिए शिक्षकों को लगातार व्यावसायिक विकास और उभरती शैक्षिक रणनीतियों से अपडेट रहना आवश्यक है। निटर भोपाल के डीन कॉर्पोरेट एंड इंटरनेशनल रिलेशन्स प्रो. पी.के पुरोहित ने इस कार्यक्रम के उद्देश्य पर प्रकाश डालते हुए कहा कि निटर भोपाल आने वाले समय में उच्च शिक्षा विभाग के शिक्षकों को टीचिंग-लर्निंग के क्षेत्र में सशक्त बनाने हेतु निरंतर प्रशिक्षण प्रदान करेंगे, जिससे वे विद्यार्थियों को बेहतर मार्गदर्शन प्रदान कर सकें। ओएसडी हायर एजुकेशन डॉ. आजाद अहमद मंसूरी ने निटर भोपाल का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि इस प्रकार के प्रशिक्षण कार्यक्रम शिक्षकों को नए दृष्टिकोण से सोचने और विद्यार्थियों को भविष्य की चुनौतियों के लिए तैयार करने में मदद करेंगे। इस अवसर पर निटर भोपाल के डॉ. बशीरुल्ला शेख व डॉ. हुसैन जीवाखान उपस्थित थे। कार्यक्रम का संचालन श्रीमती बबली चतुर्वेदी द्वारा किया गया।

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