मध्य प्रदेश

वनमाली जी’ की 113 वीं जयंती पर वनमाली सृजन केन्द्रों का पाँचवां राष्ट्रीय सम्मेलन 1–2 अगस्त को होगा आयोजित

साहित्य, कला, संस्कृति एवं सामाजिक सरोकारों के लिए समर्पित सैकड़ों वनमाली सृजन केंद्रों की होगी भागीदारी

भोपाल। सुप्रसिद्ध कथाकार, शिक्षाविद् एवं विचारक  जगन्नाथ प्रसाद चौबे ‘वनमाली जी’ की 113 वीं जयंती के अवसर पर वनमाली सृजन केन्द्रों का ‘पाँचवां राष्ट्रीय सम्मेलन’ 1–2 अगस्त 2025 (शुक्रवार–शनिवार) को प्रातः 11:00 बजे से स्कोप ग्लोबल स्किल्स यूनिवर्सिटी, भोपाल में पूर्ण भव्यता से आयोजित होगा। इस राष्ट्रीय सम्मेलन में सुदूर अँचलों, गाँव-कस्बों में कला, साहित्य, संस्कृति, सामाजिक सरोकारों की गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, बिहार, झारखंड, राजस्थान, गुजरात, उत्तराखंड, महाराष्ट्र, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश, मिजोरम, आसाम, पश्चिम बंगाल, केरल आदि में स्थापित सैकड़ों वनमाली सृजन केंद्रों के अध्यक्षों, संयोजकों एवं रचनाकार सदस्यों द्वारा रचनात्मक भागीदारी की जाएगी। उल्लेखनीय है कि सुप्रसिद्ध कथाकार, शिक्षाविद् तथा विचारक जगन्नाथ प्रसाद चौबे ’वनमाली जी’ के रचनात्मक योगदान और स्मृति को समर्पित वनमाली सृजन पीठ एक साहित्यिक, सांस्कृतिक तथा रचनाधर्मी अनुष्ठान है, जो विगत अड़तीस वर्षों से परंपरा तथा आधुनिक आग्रहों के बीच संवाद तैयार करने के लिए सतत सक्रिय है। इन वर्षों में वनमाली सृजन पीठ ने अविस्मरणीय सृजन यात्रा तय की है। यह यात्रा अनवरत जारी है। सुप्रसिद्ध कवि–कथाकार, विश्व रंग के निदेशक, वनमाली सृजन पीठ के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री संतोष चौबे की अध्यक्षता में आयोजित इस राष्ट्रीय सम्मेलन में मुकेश वर्मा, अध्यक्ष, वनमाली सृजन पीठ, भोपाल, लीलाधर मंडलोई, अध्यक्ष, वनमाली सृजन पीठ, दिल्ली, श्री रामकुमार तिवारी, अध्यक्ष, वनमाली सृजन पीठ, बिलासपुर, श्री गोविंद शर्मा, अध्यक्ष, वनमाली सृजन पीठ, खंडवा, डॉ. विनीता चौबे, संपादक, इलेक्ट्रॉनिकी आपके लिए, डॉ. अदिति चतुर्वेदी वत्स, प्रतिकुलपति, रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय, डॉ. सिद्धार्थ चतुर्वेदी, कुलाधिपति, स्कोप ग्लोबल स्किल्स यूनिवर्सिटी, भोपाल वनमाली सृजन पीठ की राष्ट्रीय संयोजक सुश्री ज्योति रघुवंशी सहित गणमान्य अतिथि उपस्थित रहेंगे। उद्घाटन सत्र का संचालन युवा कथाकार एवं वनमाली कथा के संपादक, श्री कुणाल सिंह द्वारा किया जाएगा।

लोकार्पित होंगी पुस्तकें और पत्रिकाएँ

‘कला का आदर्श’ ‘वनमाली कथा’, पत्रिका ‘, ‘वनमाली वार्ता’ पत्रिका, ‘वनमाली जी : एक कृती व्यक्तित्व’ सहित वनमाली सृजन केन्द्रों के रचनाकारों की पुस्तके होंगी लोकार्पित।

उत्कृष्ट वनमाली सृजन पीठ और केंद्रों का होगा सम्मान

सुदूर अँचलों, गाँव-कस्बों में कला, साहित्य, संस्कृति, सामाजिक सरोकारों की गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए स्थापित वनमाली सृजन केंद्रों में से चयनित वनमाली सृजन केंद्रों को राष्ट्रीय सम्मेलन में सम्मानित किया जाएगा।

राष्ट्रीय संगोष्ठी : ‘स्थानीय रचनात्मकता के प्रश्रय और प्रकाशन में वनमाली सृजन पीठ एवं आईसेक्ट पब्लिकेशन की भूमिका’

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन के पहले दिन ‘स्थानीय रचनात्मकता के प्रश्रय और प्रकाशन में वनमाली सृजन पीठ एवं आईसेक्ट पब्लिकेशन की भूमिका’ विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन होगा। इस राष्ट्रीय संगोष्ठी की अध्यक्षता वरिष्ठ कथाकार एवं वनमाली सृजन पीठ, भोपाल के अध्यक्ष श्री मुकेश वर्मा करेंगे। वक्ता के तौर पर श्री लीलाधर मंडलोई, श्री रामकुमार तिवारी, डॉ. लता अग्रवाल ‘तुलजा’, सुश्री ज्योति रघुवंशी, श्री संतोष परिहार, श्री रफी शब्बीर, श्री घनश्याम सिंह नाग अपने विचार व्यक्त करेंगे। राष्ट्रीय संगोष्ठी का समाहार श्री संतोष चौबे करेंगे। संगोष्ठी का संचालन आईसेक्ट पब्लिकेशन के वरिष्ठ प्रबंधक श्री महीप निगम करेंगे।
‘वनमाली की कहानियों से गुजरते हुए’ पुस्तक होगी लोकार्पित

इस अवसर पर डॉ. लता अग्रवाल ‘तुलजा’ द्वारा रचित पुस्तक ‘वनमाली की कहानियों से गुजरते हुए’ का लोकार्पण अतिथियों द्वारा किया जाएगा।

‘उत्कृष्ट प्रकाशन सम्मान–2025’ से सम्मानित होंगे ‘रफी शब्बीर’ और ‘घनश्याम सिंह नाग’

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन में आईसेक्ट पब्लिकेशन द्वारा पहला ‘उत्कृष्ट प्रकाशन सम्मान–2025’ सुप्रसिद्ध रचनाकार, नाट्य लेखक एवं पटकथा लेखक रफी शब्बीर को उनकी चर्चित पुस्तक ‘बानो का बाबू’ और छत्तीसगढ़ के रचनाकार घनश्याम सिंह नाग को उनकी पुस्तक ‘बस्तर की प्राचीन राजधानी : बड़े डोंगर’ के लिए प्रदान किया जाएगा।

वनमाली सृजन केन्द्रों और भोपाल के रचनाकार प्रस्तुत करेंगे रचनाएँ

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन के अवसर पर ‘भोपाल एवं वनमाली सृजन केंद्रों के आमंत्रित कवियों की काव्य गोष्ठी वरिष्ठ कवि श्री लीलाधर मंडलोई एवं श्री बलराम गुमास्ता की अध्यक्षता में आयोजित की जाएगी। वरिष्ठ कवि श्री रामकुमार तिवारी मुख्य अतिथि होंगे।आंमत्रित कविगण इसमें अपनी कविताओं का पाठ करेंगे। काव्य गोष्ठी का संचालन युवा कवियित्री डॉ. विशाखा राजुरकर राज करेंगी। इस अवसर पर सुश्री शालू अवस्थी का काव्य संग्रह ‘सिर्फ तुम’ का लोकार्पण किया जाएगा।

टैगोर राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय के कलाकार देंगे कविताओं की सांगीतिक प्रस्तुति

टैगोर राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय के विद्यार्थियों द्वारा वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन की पहली शाम 6.00 बजे से वरिष्ठ संगीतकार संतोष कौशिक के निर्देशन में कविताओं की सांगीतिक प्रस्तुति के साथ ही नाट्य गीतों की सुंदर प्रस्तुति दी जाएगी।

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन का दूसरा दिन

राष्ट्रीय संगोष्ठियों में होगा वैचारिक मंथन

राष्ट्रीय संगोष्ठी : विश्व रंग अंतरराष्ट्रीय हिंदी ओलंपियाड स्वरूप और परिकल्पना

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन का दूसरा दिन की राष्ट्रीय संगोष्ठियों और गीत ग़ज़ल संध्या के नाम होगा।
सर्वप्रथम ‘विश्व रंग अतंरराष्ट्रीय हिंदी ओलंपियाड : स्वरूप और परिकल्पना’ विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी श्री संतोष चौबे की अध्यक्षता में आयोजित होगी। इसमें वक्ता के रूप में वरिष्ठ शिक्षाविद् प्रोफेसर अमिताभ सक्सेना, डॉ. सी.वी. रामन विश्वविद्यालय के कुलगुरु डॉ. अरुण जोशी, टैगोर अंतरराष्ट्रीय हिंदी केंद्र के निदेशक डॉ. जवाहर कर्नावट, एजीयू की निदेशक डॉ. पुष्पा असिवाल, श्री भारत चतुर्वेदी श्री रामकिशन भारद्वाज,श्री अनूप चौबे, श्री लियाकत अली खोकर अपने विचार साझा करेंगे। इस अवसर पर ‘विश्व रंग अंतरराष्ट्रीय हिंदी ओलंपियाड’ का पोस्टर भी लोकार्पित होगा। संचालन डॉ. विशाखा राजूरकर राज द्वारा किया जाएगा।

राष्ट्रीय संगोष्ठी: पुस्तक संस्कृत के विकास में विश्व रंग पुस्तक यात्रा का महत्व

पुस्तक संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए विश्व रंग के अंतर्गत देश भर में बड़े पैमाने पर पुस्तक यात्राओं का आयोजन आईसेक्ट समूह के विश्वविद्यालयों द्वारा किया जाता है। इनमें वनमाली सृजन केंद्रों का बड़ा योगदान होता है। इसी तारतम्य में ‘पुस्तक संस्कृति के विकास में विश्व रंग पुस्तक यात्रा का महत्व’ विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन डॉ. अदिति चतुर्वेदी वत्स, प्रतिकुलपति, रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय की अध्यक्षता में आयोजित होगा। इस संगोष्ठी में वक्ता के रूप में श्री संतोष कौशिक, श्री योगेश मिश्रा, श्री निशांत श्रीवास्तव, श्री संतोष उपाध्याय, श्री रिशु कुमार, श्री प्रवीण तिवारी, श्री अब्दुल मजी़द, श्री मिथिलेश राय अपने अनुभव एवं विचार व्यक्त करेंगे। संचालन विश्व रंग सचिवालय के सचिव संजय सिंह राठौर करेंगे। इस अवसर पर पुस्तक यात्रा पर केंद्रित फिल्म का प्रदर्शन किया जाएगा।

राष्ट्रीय संगोष्ठी : स्थानीय संस्कृति का दस्तावेजीकरण

वनमाली सृजन केंद्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन में वरिष्ठ ललित निबंधकार डॉ. श्रीराम परिहार की अध्यक्षता में ‘स्थानीय संस्कृति का दस्तावेजीकरण’ विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी आयोजित की जाएगी। इस राष्ट्रीय संगोष्ठी में निराला सृजन पीठ की निदेशक, डॉ. साधना बलवाटे, इलेक्ट्रॉनिकी आपके लिए की संपादक डॉ. विनीत चौबे, शिक्षाविद् डॉ. संगीता पाठक, टैगोर विश्व कला एवं संस्कृति केंद्र के निदेशक श्री विनय उपाध्याय, वरिष्ठ संगीतकार श्री संतोष कौशिक, संस्कृत, प्राच्य भाषा एवं भारतीय ज्ञान परंपरा केंद्र के संयोजक डॉ.संजय दुबे अपने विचार व्यक्त करेंगे। इसका संचालन युवा कवि श्री मुदित श्रीवास्तव करेंगे। इस अवसर पर ‘निमाड़ का लोक पर्व संजा’ पुस्तक का लोकार्पण किया जाएगा। लोक कला पर केंद्रित फिल्म का प्रदर्शन भी किया जाएगा।

गीत–ग़ज़ल से गुलजार होगी सावन की सुहानी शाम

2 अगस्त की शाम 5:00 बजे से शाम 7:00 तक स्कोप कैम्पस के वनमाली सभागार में डॉ. नुसरत मेहदी, निदेशक, उर्दू अकादमी के मुख्य आतिथ्य में गीत ग़ज़ल संध्या का आयोजन किया गया है। इस अवसर पर भोपाल एवं वनमाली सृजन केंद्रों के गीतकारों और ग़ज़लकारों द्वारा गीतों और ग़ज़लों की उम्दा प्रस्तुतियाँ दी जाएगी।
गीत–ग़ज़ल गोष्ठी का संचालन वरिष्ठ ग़ज़लकार बद्र वास्ती करेंगे।
राष्ट्रीय सम्मेलन का समाहार और भविष्य की दृष्टि पर वनमाली सृजन पीठ के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री संतोष चौबे अपने विचार रखेंगे। अंत में आभार सुश्री ज्योति रघुवंशी, राष्ट्रीय संयोजक, वनमाली सृजन पीठ द्वारा दिया जाएगा।

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